बजट में युवाओं, महिलाओं, कर्मचारियों, श्रमिकों, मध्यम वर्ग और एमएसएमई के लिए तोहफा: धूमल
बाढ़ प्रबंधन के लिए हिमाचल प्रदेश को सहायता के लिए पूर्व मुख्यमंत्री ने केंद्र का आभार जताया केंद्रीय बजट की सराहना करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा विकसित भारत संकल्प यात्रा को तीव्रता प्रदान करेगा मोदी सरकार की तीसरी पारी का पहला बजट
केंद्रीय बजट में मोदी 3.0 ने युवाओं, महिलाओं, कर्मचारियों, श्रमिकों, किसानों, शिक्षा, कौशल विकास सहित मध्यम वर्ग और एमएसएमई के लिए विशिष्ट तोहफे दिए हैं। यह कहना है वरिष्ठ भाजपा नेता एवं पूर्व मुख्यमंत्री प्रोफेसर प्रेम कुमार धूमल का। हमीरपुर से जारी प्रेस विज्ञप्ति में पूर्व मुख्यमंत्री ने केंद्रीय बजट में हिमाचल प्रदेश को बाढ़ प्रबंधन और उससे जुड़ी परियोजनाओं के लिए सहायता प्रदान करने की घोषणा पर खुशी व्यक्त करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एवं केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण का धन्यवाद व्यक्त किया है।
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि मोदी सरकार की तीसरी पारी के पहले बजट में चार मुख्य समूह - गरीब, युवा, अन्नदाता और महिलाएं - पर ध्यान केंद्रित किया गया है। उन्होंने बताया कि अन्नदाताओं को लागत पर कम से कम 50% मार्जिन देने का वायदा सभी मुख्य फसलों के लिए उच्चतर न्यूनतम समर्थन मूल्यों की घोषणा करके पूरा कर दिया गया है। अब किसानों को खेती-बाड़ी के लिए कृषि और बागवानी की 32 फसलों के लिए उच्च पैदावार वाली 109 नई किस्में जारी की जाएंगी। वैज्ञानिक संस्थानों और ग्राम पंचायतों के माध्यम से अगले 2 वर्षों में एक करोड़ किसानों को प्राकृतिक खेती के लिए सहायता प्रदान की जाएगी और मुख्य बाजारों के नजदीक सब्जी उत्पादन क्लस्टर स्थापित करने की घोषणा भी की गई है। कुल मिलाकर यह सभी बजट प्रावधान निश्चित रूप से किसानों की आय को बढ़ाने में सहायक सिद्ध होंगे।
प्रोफेसर धूमल ने कहा कि मोदी सरकार ने 'सबका साथ, सबका विकास' के मूल मंत्र की भावना के तहत प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत शहरी क्षेत्र में 3 करोड़ अतिरिक्त नए घर बनाने की घोषणा की है, जो बेघरों के लिए बहुत बड़ा तोहफा है। मोदी सरकार ने पिछले 10 वर्षों में 4 करोड़ पक्के मकान बेघर लोगों को प्रदान किए हैं।
प्रोफेसर धूमल ने कहा कि शिक्षा के क्षेत्र सहित रोजगार एवं कौशल प्रशिक्षण के क्षेत्र में मोदी सरकार ने बजट में विशेष प्रावधान किए हैं जो निश्चित रूप से युवाओं को आत्मनिर्भर बनाने और विकसित भारत के संकल्प को पूरा करने में उनका योगदान सुनिश्चित करेंगे। उन्होंने बताया कि शिक्षा के क्षेत्र में मोदी सरकार ने डेढ़ लाख करोड़ रुपए का प्रावधान किया है, जो कि भारत के इतिहास में शिक्षा को मिलने वाला अब तक का सर्वाधिक बजट है। विद्यार्थियों को उच्च शिक्षा के लिए 10 लाख रुपए का ऋण देने की घोषणा की गई है, जिसमें ब्याज में 3% की छूट मिलेगी। युवाओं के लिए रोजगार एवं कौशल प्रशिक्षण के लिए 2 लाख करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। 5 वर्ष में एक करोड़ युवाओं को देश की प्रतिष्ठित 500 कंपनियों में इंटर्नशिप के साथ-साथ प्रतिमाह ₹5000 की प्रोत्साहन राशि और एक बार ₹6000 मोदी सरकार देगी। 1000 औद्योगिक प्रशिक्षण केंद्रों का उन्नयन भी किया जाएगा।
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि रोजगार को बढ़ावा देने के लिए भी मोदी सरकार ने इस बजट में महत्वपूर्ण घोषणाएं की हैं। पहली बार नौकरी करने वालों को एक महीने का वेतन मोदी सरकार देगी और 5 साल में 4 करोड़ युवाओं को रोजगार देगी। एक लाख रुपए से कम सालाना आय पर ₹3000 की सरकारी मदद मिलेगी। मुद्रा लोन की सीमा बढ़ाकर 20 लाख रुपए कर दी गई है। स्टार्टअप इकोसिस्टम को सुदृढ़ करने के लिए एंजल टैक्स समाप्त कर दिया गया है। माता-पिता और अभिभावकों के योगदान से एक नई योजना 'एनपीएस वात्सल्य' शुरू की जाएगी।
महिला संचालित विकास को बढ़ावा देने की दृष्टि से महिलाओं और बालिकाओं के लिए 3 लाख करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। कामकाजी महिला हॉस्टल और शिशु देखभाल केंद्र स्थापित किए जाएंगे। महिलाओं के लिए विशिष्ट कौशल प्रशिक्षण कार्यक्रम चलाए जाएंगे और महिला स्वयं सहायता समूहों को बाजारों तक पहुंचाने के लिए योजनाएं शुरू की जाएंगी। यह सभी बजट प्रावधान महिला सशक्तिकरण और आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देने के साथ-साथ विकसित भारत की संकल्प यात्रा में जोड़ने का बेहतरीन प्रयास है।
प्रोफेसर धूमल ने कहा कि एमएसएमई सेक्टर के लिए भी बजट में अच्छे प्रावधान किए गए हैं। एमएसएमई के लिए ऋण गारंटी योजना की घोषणा की गई है। मशीनरी और उपकरण खरीदने के लिए एमएसएमई को 100 करोड़ रुपए तक का ऋण मिल सकेगा। संकट की अवधि में सहायता प्रदान करने के लिए एमएसएमई को ऋण मिल सके इसके लिए सरकार संबोधित निधि सिक्योरिटी देगी। ई-कॉमर्स निर्यात केंद्र स्थापित करने की भी घोषणा की गई है। राष्ट्रीय औद्योगिक कॉरिडोर विकास कार्यक्रम के अंतर्गत 12 औद्योगिक पार्क स्थापित किए जाएंगे और औद्योगिक कामगारों के लिए डॉरमेट्री जैसे आवास किराए पर देने के प्रावधान किए जाएंगे।
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि विकसित राष्ट्र की पंक्ति में देश को खड़ा करने के लिए सभी राज्यों का सहयोग मिलना अति आवश्यक है। इसी दृष्टि से मोदी सरकार ने बजट में राज्यों के विकास के लिए डेढ़ लाख करोड़ रुपए का प्रावधान दीर्घावधि ब्याज मुक्त ऋण देने के लिए किया है, जिससे राज्यों को अगले 50 वर्षों तक ब्याज मुक्त ऋण मिलेगा। प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के चौथे चरण की घोषणा की गई है। हिमाचल प्रदेश को बाढ़ प्रबंधन और उससे जुड़ी परियोजनाओं के लिए सहायता देने को बजट में विशेष प्रावधान किया गया है। अनुसंधान और नवाचार बढ़ाने की बात बजट में की गई है। अंतरिक्ष अर्थव्यवस्था को अगले 10 वर्षों में 5 गुणा बढ़ाने की घोषणा की गई है।
प्रोफेसर धूमल ने कहा कि प्रस्तुत बजट में कर्मचारियों को बड़ा तोहफा देते हुए केंद्र सरकार ने बढ़िया प्रावधान किए हैं। वेतन भोगी कर्मचारियों के स्टैंडर्ड डिडक्शन को बढ़ाकर 50000 से 75000 कर दिया गया है। पेंशन भोगियों के लिए पारिवारिक पेंशन पर कटौती को 15000 से बढ़ाकर 25000 कर दिया गया है। इस नई कर व्यवस्था से देश भर के चार करोड़ वेतन भोगियों और पेंशन धारकों को लाभ मिलेगा। नई कर व्यवस्था के तहत वेतन भोगियों को आयकर में साढ़े 17000 रुपए का लाभ मिलेगा।
पूर्व मुख्यमंत्री ने केंद्र सरकार द्वारा प्रस्तुत किए गए बजट की सराहना करते हुए कहा है कि विकसित भारत संकल्प यात्रा को यह बजट गति प्रधान करेगा।