मारपीट में दो घायल एसपी को सौंपी शिकायत

मारपीट में दो घायल एसपी को सौंपी शिकायत

बाबा बालक नाथ दियोटसिद्ध मंदिर के बाहर दुकानों के पास मारपीट मामले में 2 लोग घायल हुए हैं। घायल निधि देवी और तिलक राज के अलावा कांता देवी नीलम कुमारी निशा देवी व बंदना कुमारी ने हमीरपुर पहुंचकर एसपी आकृति शर्मा से मुलाकात की और उन्हें शिकायत सौंपी। उन्होंने मंदिर के महंत राजेंद्र गिर पर आरोप लगाते हुए कहा है कि उनकी ओर से हमला करवाया गया है और घर पर तोड़फोड़ की गई है। उनका कहना है कि बड़सर पुलिस के आदेश के बावजूद न तो एएसआई पूर्ण व महंत राजिन्द्र गिर के खिलाफ कार्यवाही की, और न ही हमारी शिकायत हमारे कहे अनुसार लिखी गई , न ही दुकान व घर खुलवा कर मौके पर सीसीटीवी कैमरे की फोटो देखी गयी व पुलिस ने हमारे मोबाईल भी  कब्जे में लिए है। एसपी को सौंपी शिकायत में उन्होंने कहा है कि विधवा कांता देवी की ओर से पहले ही अपने परिवार, दुकान व घर की जान मान की रक्षा के लिए डीसी के माध्यम से गुहार लगाई जा चुकी है परंतु कुछ नहीं किया गया। उन्होंने यह भी आरोप लगाया है कि महंत राजिन्द्र गिर का हौंसला बढ़ गया और उसने अपने लोगों के साथ मिलकर आधी रात को मेरी दुकान व घर पर तोड़ फोड़ की व मेरी दुकान का शटर बंद करके अपने ताले लगा दिए गए। अंदर पड़े गहने पैसे व नौकरों का कुछ पता नहीं हैं। जब पुलिस चौकी दियोटसिद्ध में शिकायत की तो पहले से महंत अपने लोगों  के साथ सुबह मेरी दुकान व घर के बाहर मौजूद था तो उसने मुझे व मेरे भाई तिलक राज को दुकान व घर में नहीं घुसने दिया व हमें सारा दिन परेशान करके थाने में बिठाए रखा। इन लोगों का आरोप है कि आधी रात के बाद महंत व उनके लोग वहां पर आए व हमारे ऊपर जानलेवा हमला कर दिया और हमारे को जान से मारने की कोशिश की। उनका कहना है कि  मंदिर के गेट न 5 के सामने व आस- पास लगे सीसीटीवी कैमरे कि पुलिस गहनता से जाँच करे ताकि सच का सच झूठ का झूठ पता चल सके। उन्होंने उन पर हमला करने वाले लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग उठाई है।

क्या कहते हैं मंदिर के महंत राजेंद्र गिर।

बाबा बालक नाथ मंदिर दियोटसिद्ध ट्रस्ट के महंत राजेंद्र गिर ने कहा कि धार्मिक क्षेत्र के तहत आने वाली ज्यादातर जमीनों पर ऐसे लोगों ने कब्जा किया है, जिनका वहां कुछ लेना-देना नहीं है। महंतों की पारंपारिक गद्दी की मालकीयत भूमि को गुंडागर्दी करके जबरन कब्जाने का प्रयास बीती रात किया गया है। उनका कहना है कि  32 साल तक लगातार कानूनी लड़ाई के बाद अंततः सर्वोच्च न्यायालय के फैसले के बाद सरकार के आदेशों के मुताबिक इस भूमि पर महंतों की गद्दी की मलकीयत बहाल हुई है। बीती रात मध्य रात्रि को महंतों की मलकीयत में बने भवनों की तोड़-फोड़ शुरू कर दी। महंत आवास प्रशासन के लोगों के रोकने पर इन गुंडों की टोली ने हमला कर दिया। मौका वारदात से हथियारों से भरी एक गाड़ी को पुलिस ने मौका पर पहुंच कर अपने कब्जे में लिया है।