विदेशों में भारत को नीचा दिखाना राहुल गांधी की आदत: अनुराग सिंह ठाकुर

भारत की संवैधानिक संस्थाओं पर राहुल का प्रहार, लगातार हार की हताशा राहुल गांधी ना भारत और ना ही राजनीति को लेकर गंभीर

विदेशों में भारत को नीचा दिखाना राहुल गांधी की आदत: अनुराग सिंह ठाकुर
पूर्व केंद्रीय मंत्री व हमीरपुर लोकसभा क्षेत्र से सांसद अनुराग सिंह ठाकुर ने नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी के विदेशी सरजमीं से भारत विरोधी बयानों पर कड़ी आपत्ति जताते हुए कहा कि अपनी विदेश यात्राओं के दौरान भारत लो नीचा दिखाना-बताना राहुल गांधी की आदत बन चुकी है और भारत की संवैधानिक संस्थाओं पर राहुल गांधी का प्रहार इनकी चुनाव-दर-चुनाव हो रही लगातार हार की हताशा है। अनुराग सिंह ठाकुर ने कहा “आदरणीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में पिछले 10 वर्षों में मोदी सरकार सबका साथ, सबका विकास और सबका विश्वास के मूल मंत्र के साथ चली है। एक तरफ़ जहाँ मोदी भारत को आगे बढ़ाने के साथ-साथ भारत नाम-मान-सम्मान बढ़ाने के लिए अनवरत कार्यरत हैं तो वहीं दूसरी तरफ़ नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी अपने झूठ व षड्यंत्र के बल पर भारत को नीचा दिखाने व बदनाम करने में जी-जान से लगे हैं। भारत की संवैधानिक संस्थाओं पर राहुल गांधी का प्रहार इनकी चुनाव-दर-चुनाव हो रही लगातार हार की हताशा है। राहुल गांधी को सत्ता न मिल पाने का अफसोस अब इतना गहरा हो चुका है कि उन्हें भारत में हर तरफ सिर्फ नकारात्मकता ही नजर आती है। राहुल गांधी को ये समझना पड़ेगा कांग्रेस की असफलता, कांग्रेस की हार भारत की असफलता और हार नहीं है” अनुराग सिंह ठाकुर ने कहा “आजकल राहुल जी जर्मनी की जमीन पर जाकर देश को अपमानित कर रहे हैं। देश में रहेंगे तो देश के संविधान को गाली देंगे, चुनाव आयोग को गाली देंगे, सुप्रीम कोर्ट की अवमानना करेंगे और जब देश के बाहर जाते हैं, तो देश को गाली देते हैं। चुनाव दर चुनाव हार और जनता से नकार दिए जाने पर राहुल गांधी की हताशा, निराशा दिन पे दिन बढ़ती ही जा रही है। आरोपों की राजीनीति को राहुल गांधी ने अपना आभूषण बना लिया है और जब उनसे उन्हीं के लगाये आरोपों को प्रमाणित करने को कहा जाता है तो पीठ दिखा कर भाग खड़े होते हैं। अपनी नाकामी के ताबूत को ढँकने के लिए आरोपों की चादर का सहारा के रहे हैं। राहुल गांधी को एक के बाद देश की संवैधानिक संस्थाओं पर हमला कर सुर्ख़ियों में बने रहने की लत लग चुकी है। राहुल गांधी नेता प्रतिपक्ष से भारत विरोधी टूल-किट गैंग के सरग़ना बन चुके हैं। इनके हर प्रयास, इनके हर काम भारत के लोकतंत्र को कमजोर करने की, भारत की जनता को गुमराह करने की, सनसनी फैला कर अपनी उपयोगिता बनाये रखने हर तक सीमित हो गई है। सच तो ये है कि राहुल गांधी राजशाही मानसिकता से ग्रस्त होने के कारण ये पचा ही नहीं पा रहे कि कैसे एक ग़रीब परिवार का बेटा मोदी चुनाव दर चुनाव इनके नफ़रती एजेंडे को ध्वस्त कर भारत को नई बुलंदियों पर पहुँचाते हुए लोकप्रियता के शिखर पर विद्यमान है। जनता से, अदालतों से मुँह की खाने के बावज़ूद राहुल गांधी जिस बेशर्मी से भारत के संवैधानिक ढाँचे और संस्थाओं को कटघरे में खड़ा करते हैं वो हास्यास्पद है।