बड़सर के विधायक इंद्रदत्त लखनपाल की अगुवाई में नगर पंचायत प्रस्ताव का विरोध, सरकार से समस्याओं के समाधान की मांग
बड़सर को नगर पंचायत बनाने के प्रस्ताव के खिलाफ क्षेत्र में बड़े स्तर पर विरोध जारी है। बड़सर, बणी, भकरेड़ी और बल्याहः के वार्ड घुमारवीं पंचायतों के प्रतिनिधियों ने इस प्रस्ताव को जनता के हितों के खिलाफ बताते हुए तीखी नाराजगी जताई। विधायक इंद्रदत्त लखनपाल ने इस विरोध प्रदर्शन की अगुवाई की और सरकार पर जनभावनाओं की अनदेखी का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि सरकार को नई नगर पंचायत बनाने के बजाय पहले मौजूदा निकायों और प्रशासनिक ढांचे की स्थिति सुधारनी चाहिए।
विधायक का बयान: "मौजूदा व्यवस्थाएं पहले सुधारे सरकार"
विधायक लखनपाल ने कहा, "प्रदेश में पहले से चल रही नगर पंचायतों और परिषदों की हालत बदतर है। ईओ (कार्यकारी अधिकारी), जेई (जूनियर इंजीनियर) और सचिव के पद खाली पड़े हैं। मुख्यमंत्री की अपनी विधानसभा की नगर परिषद में भी ईओ की पोस्ट खाली है।"
उन्होंने बताया कि बड़सर में बीडीओ (ब्लॉक डेवलपमेंट ऑफिसर) का पद पिछले छह महीनों से खाली पड़ा है, जिससे पंचायतों का कामकाज प्रभावित हो रहा है और जनता को परेशानी हो रही है। उन्होंने कहा कि जल शक्ति विभाग में एसडीओ और जेई के पद रिक्त हैं, जिसके चलते क्षेत्र में पेयजल और अन्य परियोजनाओं का काम ठप पड़ा है।
लोक निर्माण विभाग और आयुर्वेदिक अस्पताल की बदहाली पर सवाल
विधायक ने कहा कि लोक निर्माण विभाग के एक्सईएन को बड़सर के साथ नादौन का अतिरिक्त प्रभार दिया गया है, जबकि नादौन मुख्यमंत्री की विधानसभा क्षेत्र है। उन्होंने मुख्यमंत्री की कार्यशैली पर सवाल उठाते हुए कहा, "ऐसा मुख्यमंत्री क्या जो अपनी विधानसभा में भी एक्सईएन की नियुक्ति नहीं कर पा रहा है।"
इसके साथ ही उन्होंने आयुर्वेदिक अस्पताल बिझड़ी में डॉक्टर की अनुपस्थिति को लेकर भी चिंता व्यक्त की। लखनपाल ने कहा कि क्षेत्र के लोग स्वास्थ्य सेवाओं की कमी के कारण परेशान हो रहे हैं, लेकिन सरकार इन समस्याओं को अनदेखा कर रही है।
प्रमुख प्रतिनिधियों ने जताई नाराजगी और प्रशासन से मांगा जवाब
इस विरोध प्रदर्शन में बड़सर, बणी, भकरेड़ी और घुरारवीं पंचायतों के कई प्रतिनिधियों और ग्रामीणों ने भाग लिया। प्रमुख प्रतिनिधियों ने सवाल उठाया कि नगर पंचायत बनने के बाद सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट और कूड़ा निस्तारण संयंत्र कहां बनाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि सरकार और प्रशासन को इस पर जनता के सामने स्पष्ट योजना रखनी चाहिए।
भाग लेने वाले प्रमुख प्रतिनिधि:
बणी पंचायत से बीडीसी सदस्य: मुकेश बन्याल
तुखानी गांव से: संजय बन्याल
बणी पंचायत के पूर्व प्रधान: रमेश कुमार
बल्याह पंचायत के उपप्रधान: नरेश कुमार
पूर्व बीडीसी सदस्य: आनंद ठाकुर
बड़सर पंचायत की प्रधान: राजेश कुमारी
अन्य ग्रामीण: योगराज सिंह, तमन्ना देवी, सोमा देवी, कंचन विज, निशा कुमारी, लता कुमारी, होशियार सिंह, संदीप कौंडल, परविंदर सिंह, राकेश शर्मा, संजीव कुमार, बलराम सिंह, गीता देवी, रक्षा देवी, सुनीता, मोनिका।
सरकार के दो साल पूरे होने के समारोह पर निशाना
विधायक ने बिलासपुर में सरकार के दो साल पूरे होने पर आयोजित समारोह को लेकर भी सरकार पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि "जब प्रदेश की जनता महंगाई, बेरोजगारी और बदहाल स्वास्थ्य सुविधाओं से परेशान है, तो सरकार को जश्न मनाने का क्या हक है? यह जश्न नहीं, बल्कि जनता के साथ क्रूर मजाक है।"
शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं की अनदेखी पर चिंता
विधायक ने डिग्री कॉलेज बड़सर और बाबा बालक नाथ ट्रस्ट के अधीन कॉलेज की स्थिति पर चिंता व्यक्त की।
डिग्री कॉलेज में शिक्षकों के छह पद खाली हैं।
बाबा बालक नाथ ट्रस्ट के कॉलेज में बुनियादी सुविधाओं की कमी है।
उन्होंने बड़सर अस्पताल में डॉक्टरों और बीएमओ (ब्लॉक मेडिकल ऑफिसर) के रिक्त पदों की ओर भी ध्यान आकर्षित किया।
जनभावनाओं का सम्मान जरूरी: लखनपाल
लखनपाल ने कहा कि वे जनता के साथ खड़े हैं। "बड़सर की जनता का जो भी निर्णय होगा, मैं उसके साथ हूं। सरकार को चाहिए कि वह जनता की राय का सम्मान करे और इस प्रस्ताव पर पुनर्विचार करे।"
उन्होंने सरकार से अपील की कि वह मौजूदा समस्याओं को प्राथमिकता से सुलझाए और क्षेत्रीय विकास के लिए ठोस कदम उठाए।